ना जरूरत था तुझे मेरी ,ना तू मेरी जरूरत थी, फिर किसने हवाओं में अकेलेपन का रंग बिखेर दिया, कहीं से तो रंग आया होगा।
Saturday, May 30, 2020
Monday, May 25, 2020
Wednesday, May 20, 2020
मेरे एहसास(lines of my novel)
राते हुई आंखें बंद कर लिया ,सुबह हुई आंखें खोल लिया, पर देखा कुछ बदला नहीं,बहुत दर्द में डूबी थी आंखें, पर यकीन था इन्हें राहत मिलेगी।
मेरे एहसास(lines of my novel)
ना कोई छम छम थी, ना कोई पहनी थी पायल, खामोशी सी छाई हुई थी, पर हवाओं में कुछ बह रही थी, आंखें बंद किया और महसूस किया ,बस उनकी यादें थी और कुछ।
Monday, May 18, 2020
मेरे एहसास
ख्वाहिश थी कि उनकी चाहत की छांव में ,पूरी उम्र गुजार दूं , पर उन्हें कहा मंजूर था, उन्होंने आपना रास्ता ही बदल लिया।
Saturday, May 16, 2020
मेरे एहसास
कभी हुआ करती थी इन आंसुओं की भी कीमत, पर वक्त की मेहरबानी देखो, इन्हें भी छीन लिया और हंसना सिखा दीया।
Tuesday, May 12, 2020
मेरे एहसास
कभी जो रोया करते थे तन्हाइयों में , वक्त ने उन तनहाइयों को ही उनका दोस्त बना डाला, दोस्ती का साथ तो देखो,अब वो बेवजह ही मुस्कुराया करते हैं ।
Saturday, May 9, 2020
Monday, May 4, 2020
मेरे एहसास
अगर भूल जाऊं मैं तुझे ,तो ना कहना ,तुम भूल गए मुझे।
गुंजाइश थी कि तुझे याद करूं, पर वक्त लौटकर आया ही नहीं।
मेरे एहसास
दफ्न ना कर ऐ जिंदगी अपनी ख्वाबों को, वक्त बीत जाने पर भी फूल ना आएंगे। कभी सुना है बंद डिब्बे में बीज रहा करते हैं।
Friday, May 1, 2020
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